पटना: बिहार में मुख्यमंत्री नीतीश कुमार (CM Nitish Kumar) के नेतृत्व में गठित राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (NDA) की नई सरकार एक्शन मोड में दिख रही है। नई सरकार ने पिछले 11 महीने में की गई कार्रवाई का ब्यौरा सार्वजनिक कर अपनी मंशा का संकेत दे दिया है। ब्यौरा के अनुसार इस साल 85 पुलिसकर्मियों को बर्खास्त (Dismiss) किया जा चुका है। जबकि, 644 के खिलाफ कड़ी कार्रवाई (Stern Action) की है। ये कार्रवाई बालू, दारू और जमीन की हेराफेरी के मामलों में की गई है।
बिहार पुलिस मुख्यालय (Bihar Police Headquarters) ने पिछले 11 महीने में की गई कार्रवाई का ब्यौरा सार्वजनिक किया है। गड़बड़ी के कारण कार्रवाई की जद में आए पुलिस वालों में छह आइपीएस (IPS officers) तथा 32 बिहार पुलिस सेवा के अफसर (BPS Officers) हैं। सर्वाधिक पुलिसकर्मियों पर शराबबंदी कानून (Liquor Ban Law) में कोताही, अवैध खनन, परिवहन और जमीन संबंधित मामलों में कार्रवाई की गई है।
जनवरी से अभी तक 85 पुलिसकर्मियों को सेवा से बर्खास्त किया गया है। वहीं, 55 पुलिस अफसरों के खिलाफ कठोर दंड और चार को लघु दंड दिए गए हैं। दर्जनों पुलिसकर्मियों के खिलाफ कार्रवाई प्रस्तावित है। अहम यह है कि जिले स्तर पर 48 मामलों में जिन पुलिसकर्मियों को मामूली सजा दी गई है, पुलिस मुख्यालय उन मामलों की पुर्नसमीक्षा करा रहा है। अफसरों के हीलाहवाली को गंभीरता से लेते हुए 23 को सेवा से बर्खास्त करने की तैयारी है। यही नहीं, पांच सेवानिवृत्त पुलिस अफसरों के पेंशन में कटौती की गई है।
जिन अधिकारियों के खिलाफ कार्रवाई हुई या हो रही है, उनकी संख्या 38 बताई जा रही है। इनमें भारतीय पुलिस सेवा के दो अधिकारी शामिल हैं। चार पदाधिकारियों के खिलाफ विभागीय कार्रवाई भी की गई है।