नई दिल्ली ब्यूरो: दिल्ली के बॉर्डर पर किसानों का आंदोलन 19वें दिन भी जारी है। सरकार और किसानों के बीच इस मुद्दे पर कई दौर की बातचीत भी हुए, लेकिन कोई नतीज नहीं निकला। किसान तीनों नए कृषि कानूनों को खत्म करने की मांग कर रहे हैं। भारत बंद और सरकार के प्रस्ताव को खारिज करने के बाद किसान नेताओं ने अपने आंदोलन को और तेज करने का फैसला किया है। किसान संगठनों ने कहा है कि वो दिल्ली के सभी बॉर्डर पर सोमवार को दिनभर के लिए अनशन करेंगे। साथ ही देशभर के जिलों में धरना देंगे।
किसान आंदोलन के बीच सोमवार को रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने कहा है, “हमारे कृषि क्षेत्र के खिलाफ प्रतिकूल कदम उठाने का कोई सवाल ही नहीं है। हाल के सुधारों को भारत के किसानों के सर्वोत्तम हितों को ध्यान में रखते हुए किया गया है।” फिक्की के वार्षिक सम्मेलन में उन्होंने आगे बताया- हम हमेशा अपने किसान भाइयों की बात सुनने, उनकी गलतफहमी को दूर करने और आश्वासन देने के लिए तैयार रहते हैं।
वहीं, केंद्रीय कृषि राज्य मंत्री कैलाश चौधरी बोले हैं, “किसी भी काम या आंदोलन को लेकर जिद पर अड़ जाने से समाधान नहीं होता है। समाधान निश्चित रूप से मिल बैठकर निकलता है। मैं किसान भाईयों से आग्रह करूंगा कि भारत सरकार आपके साथ बैठने के लिए तैयार है।” इसी बीच, हरियाणा के उपमुख्यमंत्री दुष्यंत चौटाला केंद्रीय मंत्री नीतिन गडकरी के दिल्ली स्थित आवास जाकर मुलाकात की है।