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ED का दावा: Rs 1100 करोड़ का है शराब घोटाला, के. कविता समेत इन पर आरोप, दिल्ली को 581 करोड़ रुपये का नुकसान

नई दिल्ली : ईडी (ED) ने विशेष न्यायाधीश कावेरी बेवेजा की अदालत (Special Judge Kaveri Beweja, Court) में बीआरएस नेता के. कविता (BRS leader K. Poem) के खिलाफ दाखिल अपने पूरक आरोपपत्र में गंभीर आरोप लगाए हैं। ईडी ने आरोप लगाया है कि कथित शराब घोटाले (Alleged liquor scam) में 1,100 करोड़ रुपये से अधिक की मनी लॉन्ड्रिंग (Money laundering) हुई है। ईडी का कहना है कि 1,100 करोड़ रुपये में से कविता 292.8 करोड़ रुपये (Rs 292.8 crore) के अपराध की आय अर्जित करने में शामिल थी। ईडी ने के. कविता पर सबूतों को मिटाने के गंभीर आरोप भी लगाए हैं।

के. कविता समेत इन पर आरोप
ईडी ने आरोप-पत्र पर बहस के दौरान अदालत को बताया कि मामले में कुल 1100 करोड़ रुपये का घोटाला हुआ है। इसमें के. कविता, चंप्रीत सिंह, प्रिंस कुमार, दामोदर शर्मा और अरविंद सिंह जैसे आरोपियों की गतिविधियों के माध्यम से अपराध की बड़ी आय अर्जित की गई। इस 1100 करोड़ रुपये में 292 करोड़ रुपये का प्रबंधन के.कविता ने किया।

के. कविता ने AAP नेताओं को दी 100 करोड़ की घूस
आरोप पत्र में दावा किया गया है कि कविता 292.8 करोड़ रुपये की अपराध में उत्पन्न आय में शामिल थीं। इसमें से 100 करोड़ रुपये की रिश्वत आम आदमी पार्टी के नेताओं को दी गई। ईडी ने अपने दस्तावेजों में दावा किया है कि के. कविता ने आरोपी विजय नायर (जो AAP के शीर्ष नेताओं की ओर से काम कर रहा था) के माध्यम से साउथ ग्रुप के सदस्यों और आम आदमी पार्टी के नेताओं के साथ मिलकर 100 करोड़ रुपये की रिश्वत देने और अनुचित लाभ प्राप्त करने की साजिश रची।

दिल्ली को 581 करोड़ रुपये का नुकसान
ईडी ने आरोप लगाया है कि कथित आबकारी घोटाले से दिल्ली को 581 करोड़ रुपये के राजस्व का नुकसान हुआ। ईडी ने के. कविता पर मामले में अपनी संलिप्तता को छिपाने के लिए डिजिटल साक्ष्य नष्ट करने का भी आरोप लगाया है। ईडी ने आरोप लगाया कि के. कविता ने अपने मोबाइल फोन का डाटा डिलीट किया। के. कविता ने जांच के लिए नौ फोन दिए जो पहले ही फॉर्मेट किए जा चुके थे। इन मोबाइल फोन में कोई डेटा नहीं था। इन फॉर्मेट किए गए फोन को लेकर पूछे गए सवालों का वह कोई स्पष्ट जवाब नहीं दे सकीं।

कैसे खपाई रिश्वत की रकम?
ईडी ने दावा किया है कि आरोपी रिश्वत की रकम को सरकारी अधिकारियों को बांटने में भी शामिल रहे। खासतौर पर के. कविता ने मामले में आरोपी कंपनी ‘इंडोस्पिरिट्स’ का साजिश के तहत गठन किया। उन्होंने इंडोस्पिरिट्स का करके 192.8 करोड़ रुपये की रकम को अर्जित करने और इसका इस्तेमाल करने का काम किया जो रिश्वत के रूप में मिली थी। ईडी का आरोप है कि इंडोस्पिरिट्स को वास्तविक संस्था के तौर पर पेश किया गया। यही नहीं 192.8 करोड़ रुपये की रकम को कंपनी का मुनाफा बताया गया।

 

द फ्रीडम स्टॉफ
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