रायबरेली ब्यूरो: सूबे में सत्तनशीं योगी सरकार घूसखोरी के खिलाफ सख्त रवैया अपनाने का दंभ भर रही है। लेकिन हकीकत में रायबरेली जिले में कई अधिकारियों पर ना सिर्फ घूस लेने के आरोप लग रहे हैं बल्कि उनके घूस लेते हुए वीडियो वायरल भी हो रहे हैं। इनमें एक वीडियो रायबरेली की डलमऊ तहसील का है। वीडियों डलमऊ में तैनात कानूनगो रामपाल का है। जिसमें रामपाल एक होटल में हथबरारी के लिए मांगी गई 6,500 रुपये में पीड़ित द्वारा दी गई साढ़े चार हजार रुपये की राशि गिनते नजर आ रहे हैं।
कोई कार्रवाई नहीं हुई
रामपाल को शिकायत पटल में भेजा गया है। लेकिन कोई कार्रवाई नहीं हुई। रामपाल पर लगे आरोपों की जांच एसडीएम सलोन करेंगे। हाल में प्रभारी मंत्री और नोडल अधिकारी के दौरे की वजह से जांच होने के बावजूद कार्रवाई नहीं हुई थी। अब जब डीएम संजय खत्री ने फिर ड्यूटी संभाली तो तुरंत ही दोनों प्रकरण की जांच उप जिलाधिकारी महराजगंज और उप जिलाधिकारी सलोन को सौंपी गई है। जिलाधिकारी संजय खत्री ने कहा कि भ्रष्टाचार करने वाले कतई बख्शे नहीं जाएंगे। दोनों राजस्व निरीक्षकों को तहसील से हटा दिया गया है। उन्हें शिकायत पटल से संबद्ध कर काम लिया जा रहा है। एसडीएम की रिपोर्ट मिलते ही आगे की कार्रवाई की जाएगी।
जमीन की नाप-जोख के नाम पर 50 हजार रुपये घूस लेने का आरोप
दूसरा मामला है सदर तहसील में राही क्षेत्र के कानूनगो उपेंद्र सिंह का। उपेंद्र सिंह का घूस लेते वीडियो अगस्त माह के पहले सप्ताह में वायरल हुआ था। उन पर जमीन की नाप-जोख के नाम पर 50 हजार रुपये घूस लेने का आरोप है। उनके खिलाफ पहले नायब तहसीलदार विनोद चौधरी ने जांच की। इसके आधार पर उनसे कानूनगो का चार्ज छीनकर कलेक्ट्रेट परिसर में काम पर लगाया गया है।
अधिकारी दिखा रहे हैं सहानुभूति
उपेंद्र का वीडियो सर्दियों के समय का है। अब इसकी विस्तृत जांच उप जिलाधिकारी महराजगंज को दी गई है। उनकी रिपोर्ट के आधार पर जिलाधिकारी कार्रवाई करेंगे। चूंकि, कानूनगो की सेवानिवृत्ति की अवधि भी नजदीक है। इसलिए अधिकारी उनके साथ सहानुभूति दिखा रहे हैं। ऐसा अब तक की कार्रवाई में सामने आया है।